Breaking News

रायपुर : प्रदेश में 21 नवम्बर से 4 दिसम्बर तक मनाया जाएगा पुरूष नसबंदी पखवाड़ा, महिला व पुरूष नसबंदी के बारे में किया जाएगा जागरूक….

पुरूष नसबंदी पखवाड़ा के दौरान परिवार नियोजन के स्थाई व अस्थाई साधनों की दी जाएगी जानकारी

परिवार नियोजन के प्रति लोगों को जागरूक करने राज्य शासन के स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग द्वारा 21 नवम्बर से 4 दिसम्बर तक पुरूष नसबंदी पखवाड़ा चलाया जाएगा।

इस दौरान ग्राम स्तर से लेकर जिला स्तर तक विशेष अभियान चलाकर पुरूष नसबंदी के प्रति फैली अज्ञानता व भ्रांतियों को दूर किया जाएगा।

पखवाड़े के दौरान ए.एन.एम. और मितानिनें घर-घर जाकर चिन्हांकित हितग्राहियों को परिवार नियोजन के स्थाई व अस्थाई साधनों के बारे बताएंगी। हितग्राहियों को जरूरी परामर्श और परिवार नियोजन की सेवाएं भी इस दौरान प्रदान की जाएंगी।  

स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग में परिवार कल्याण के उप संचालक डॉ. टी.के. टोंडर ने बताया कि देश की बढ़ती जनसंख्या चिंता का विषय है। इसके लिए सबको जागरूक होने की जरूरत है। उन्होंने बताया कि प्रदेश में पिछले पांच वर्षों में दो लाख 59 हजार 985 महिलाओं और 26 हजार 510 पुरूषों की नसबंदी की गई है।

वर्ष 2017-18 में 53 हजार 236 महिलाओं एवं 7119 पुरुषों, 2018-19 में 61 हजार 342 महिलाओं एवं 5361 पुरुषों, 2019-20 में 59 हजार 991 महिलाओं एवं 6775 पुरुषों, 2020-21 में 28 हजार 159 महिलाओं एवं 2826 पुरुषों, 2021-22 में 57 हजार 257 महिलाओं एवं 4429 पुरुषों व 2022-23 में 80 हजार 704 महिलाओं एवं 6216 पुरुषों का नसबंदी ऑपरेशन किया गया है। 

सभी शासकीय स्वास्थ्य केंद्रों में परिवार नियोजन के साधन निःशुल्क उपलब्ध हैं। इनमें पुरूष एवं महिला नसबंदी, निरोध, गर्भ निरोधक गोली, इंजेक्शन, कॉपर-टी जैसी सुविधाएं शामिल हैं। परिवार नियोजन के लिए आवश्यक है कि पहले और दूसरे बच्चे के बीच तीन साल का अंतराल हो।

परिवार नियोजन को बढ़ावा देने के उपायों पर डॉ. टोंडर ने बताया कि सभी जिला चिकित्सालयों, चिन्हांकित सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों तथा मान्यता प्राप्त निजी चिकित्सालयों में एन.एस.व्ही. की सुविधा उपलब्ध है।

पुरूष नसबंदी उन दंपत्तियों के लिए परिवार नियोजन का सबसे आसान उपाय है जिन्हें और बच्चे नहीं चाहिए। एन.एस.व्ही. बिना चीरा व टांके के दस से 20 मिनट में पूरी की जाती है, और इस प्रक्रिया में दर्द नहीं होता। नसबंदी के बाद किसी भी प्रकार की शारीरिक दुर्बलता नहीं होती, बल्कि पहले जैसा ही भारी काम कर सकते हैं।

शासकीय स्वास्थ्य केन्द्रों में नसबंदी के बाद पुरूष हितग्राहियों को तीन हजार रुपए और महिला हितग्राहियों को दो हजार रुपए की प्रोत्साहन राशि दी जाती है।

यह महिला नसबंदी की अपेक्षा अधिक सुरक्षित और सरल है। पखवाड़ा के दौरान स्वास्थ्य कर्मियों द्वारा स्वास्थ्य केंद्रों पर आने वाले योग्य दंपति को गर्भनिरोधक के संबंध में परामर्श देते हुए इच्छित गर्भ निरोधक साधन या सेवा इच्छानुसार उपलब्ध कराई जाएगी।

Yogesh Bansal

Editor in Chief

Yogesh Bansal

Editor in Chief

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button