Breaking Newsछत्तीसगढ़

चुनाव से पहले इस विधायक बढ़ी मुश्किलें, चुनाव आयोग ने जारी किया कारण बताओ नोटिस, जाने वजह

बंगाल। भारतीय चुनाव आयोग (ECI) ने मंगलवार को ‘विपक्षी पार्टी के कार्यकर्ताओं और मतदाताओं को धमकी देकर’ आदर्श आचार संहिता का उल्लंघन करने के आरोप में तृणमूल कांग्रेस विधायक हमीदुल रहमान को कारण बताओ नोटिस जारी किया. पश्चिम बंगाल विधानसभा में विपक्ष के नेता सुवेंदु अधिकारी की शिकायत पर यह कार्रवाई की गई है. चुनाव आयोग ने इस महीने की शुरुआत में उत्तर दिनाजपुर में अपने निर्वाचन क्षेत्र में टीएमसी के चोपड़ा से विधायक रहमान द्वारा दिए गए भाषण की जांच की. इसके बाद आयोग ने कारण बताओ नोटिस जारी करते हुए 25 अप्रैल शाम 5 बजे तक जवाब देने को कहा है.

एजेंसी के मुताबिक एक अधिकारी ने कहा कि चुनाव आयोग को 11 अप्रैल को X हैंडल पर सुवेंदु अधिकारी के वीडियो पोस्ट के जरिए एक शिकायत मिली. इसमें आरोप लगाया गया कि एक पब्लिक मीटिंग में स्पीच देते वक्त रहमान मतदाताओं और विपक्षी पार्टी के कार्यकर्ताओं को धमकी दे रहे थे. रहमान को यह कहते हुए सुना गया, ‘केंद्र सरकार की सेनाएं (अप्रैल) 26 तक यहां रहेंगी. उसके बाद आपको हमारी सेनाओं के साथ रहना होगा. अपने कीमती वोट बर्बाद न करें. केंद्रीय बल 26 (अप्रैल) को यह जगह छोड़ देंगे. तब केवल हमारे ‘केंद्रीय बल’ यहां होंगे, तब शिकायत मत करना, यह मत पूछना कि मेरे साथ क्या और क्यों हुआ.

अधिकारी ने बताया कि जांच के बाद यह पाया गया कि इसने एमसीसी और जन प्रतिनिधित्व अधिनियम, 1951 और भारतीय दंड संहिता की धाराओं का उल्लंघन किया है. इस क्षेत्र में दूसरे चरण में 26 अप्रैल को चुनाव होंगे. इस बीच, चुनाव आयोग ने कहा कि राज्य सरकार द्वारा प्रायोजित और सहायता प्राप्त स्कूलों में 25,753 शिक्षकों और गैर-शिक्षण कर्मचारियों की नियुक्तियों को रद्द करने के बावजूद चुनाव कराने में कोई कठिनाई नहीं होगी, जिनमें से कई को चुनाव ड्यूटी के लिए तैनात किया जाना था.

पश्चिम बंगाल CEO दफ्तर के एक सीनियर ऑफिसर के मुताबिक कलकत्ता हाई कोर्ट के फैसले का ‘चुनावों पर कोई प्रभाव नहीं पड़ेगा क्योंकि उनके पास अतिरिक्त जनशक्ति है और वह उस कमी को पूरा कर देंगे.’ उन्होंने आगे कहा कि हमारे पास अतिरिक्त जनशक्ति है, जो कमी को पूरा करेगी. हम हमेशा चुनाव के लिए 20-25 प्रतिशत अतिरिक्त जनशक्ति रखते हैं. हालांकि आयोग ने अभी तक इस संबंध में कोई आखिरी फैसला नहीं लिया है.

Suraj Makkad

Editor in Chief

Suraj Makkad

Editor in Chief

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button